बोर्ड परीक्षाओं के रिजल्स आने शुरू हो गए हैं। ऐसे में 12वीं पास करने के बाद छात्र किसी कोर्स में आगे की पढ़ाई करें, इसको लेकर उनमें मन में असमंजस की स्थिति रहती है।
क्या आपको अपना घर, ऑफिस आदि सझाने में अच्छा लगता है? अगर ऐसा है तो आप अपने इस कौशल को अपने बेहतर करियर के लिए चुन सकते हैं। हम बात कर रहे हैं इंटीनियर डिजाइनिंग की। जी हां आप इंटीरियर डिज़ाइनर बन सकते हैं।
केवल घरो की साज-सज्जा तक सिमित नही , इसका दायरा दिन-प्रतिदिन बढ़ रहा है | आर्किटेक्चर का काम खत्म होने के बाद इंटीरियर डिज़ाइनर की जिम्मेदारी शुरू होती है | किसी आवास की आंतरिक सज्जा और व्यवस्थित करने की कला या प्रक्रिया ही इंटीरियर डिजाइनिंग है |
शॉपिंग मॉल, मल्टीप्लेक्स, हॉस्पिटल, एयरपोर्ट, रेस्तरां, होटल, ऑफिस आदि अन्य कई कॉर्पोरेट ऑफिस के साथ-साथ बॉलीवुड तथा टीवी इंडस्ट्री में भी इंटीरियर डिजाइनर प्रोफेशनल्स की मांग बढ़ गई है।
बोर्ड परीक्षाओं के रिजल्स आने शुरू हो गए हैं। ऐसे में 12वीं पास करने के बाद छात्र किसी कोर्स में आगे की पढ़ाई करें, इसको लेकर उनमें मन में असमंजस की स्थिति रहती है।
क्या आपको अपना घर, ऑफिस आदि सझाने में अच्छा लगता है? अगर ऐसा है तो आप अपने इस कौशल को अपने बेहतर करियर के लिए चुन सकते हैं। हम बात कर रहे हैं इंटीनियर डिजाइनिंग की। जी हां आप इंटीरियर डिज़ाइनर बन सकते हैं।
केवल घरो की साज-सज्जा तक सिमित नही , इसका दायरा दिन-प्रतिदिन बढ़ रहा है | आर्किटेक्चर का काम खत्म होने के बाद इंटीरियर डिज़ाइनर की जिम्मेदारी शुरू होती है | किसी आवास की आंतरिक सज्जा और व्यवस्थित करने की कला या प्रक्रिया ही इंटीरियर डिजाइनिंग है |
शॉपिंग मॉल, मल्टीप्लेक्स, हॉस्पिटल, एयरपोर्ट, रेस्तरां, होटल, ऑफिस आदि अन्य कई कॉर्पोरेट ऑफिस के साथ-साथ बॉलीवुड तथा टीवी इंडस्ट्री में भी इंटीरियर डिजाइनर प्रोफेशनल्स की मांग बढ़ गई है।